ग्रामीण क्षेत्रो में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के उद्देश्य से आयुष्मान सहकर योजना की शुरुआत की गयी है इसके जरिये ग्रामीण नागरिकों का स्वास्थ बेहतर हो इस पर बल दिया गया है। इस योजना के अंतर्गत ग्रामीण इलाकों में अस्पताल, मेडिकल कॉलेज खोलने के लिए सहकारी समितियों को 10000 करोड़ रूपये कर्ज के रूप में NCDC के द्वारा मुहैया कराया जायेगा। इसके साथ साथ अन्य स्वास्थ्य सुविधाएं भी उपलब्ध कराई जाएगी। जिससे ग्रामीण क्षेत्रो के नागरिकों को बेहतर इलाज की सुविधा मिल सके।
इस योजना के बारे में सारी जानकारी लेने के लिए इस आर्टिकल को पूरा पढ़े :
आयुष्मान सहकार योजना के माध्यम से देश में शहरी क्षेत्रों से दूर ग्रामीण क्षेत्रो की स्वास्थ्य सेवाओं में होने वाली परेशानियां तथा बुनियादी ढांचे में सुधार करने की कोशिश किया जा रहा है जिससे ग्रामीण क्षेत्रों के स्वास्थ वयवस्था को बेहतर बनाया जा सके। देश में चल रही महामारी के चलते स्वास्थ सुविधाओं को बेहतर बनाने तथा आपातकाल की स्तिथि में जरुरत पड़ने पर इस योजना की शुरुआत की गयी।
आयुष्मान सहकार योजना का उद्देश्य
ये बातें सभी को पता है की कोरोना महामारी की वजह से हमारा देश अन्य देशों की तुलना में बहुत ज्यादा प्रभावित हुआ है। जिसके चलते गौंव के लोगों को स्वास्थ्य को लेकर काफी परेशानियाँ झेलनी पर रही है इस समस्या को कम करने के लिए केंद्र सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों में अस्पताल, मेडिकल कॉलेज खोलने के लिए इस आयुष्मान सहकार योजना की शुरुआत की। इस योजना के माध्यम से राष्ट्रीय कोऑपरेटिव विकास निगम द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में सहकारी संस्थाओं को मेडिकल कॉलेज और अस्पताल खोलने के लिए केंद्र सरकार द्वारा कम ब्याज पर ऋण देना । इन मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों के खुलने से गांव के लोगो को बेहतर इलाज की सुविधाएँ मिल सकेगी।
इस योजना के घटक
- होमियोपैथी
- दवा निर्माण
- आयुष
- औषधि परीक्षण प्रयोगशाला
- कल्याण केंद्र
- आयुर्वेद मालिश केंद्र
- दवा की दुकानें
- ब्लड बैंक/ रक्तदान सेवाएं
- मातृ एवं शिशु देखभाल सेवाएं इत्यादि।
- इस योजना के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्र के स्वास्थ वयवस्था का विकास होगा
- ग्रामीण क्षेत्रों में अस्तपताल व स्वास्थ्य कॉलेज की सुविधाएँ बढ़ेंगी
- इस योजना के माध्यम से किसी भी सहकारी समिति जो स्वास्थ की सेवाएं देती है उन सहकारी समिति को NCDC के द्वारा कम ब्याज पर लोन प्रदान किया जायेगा
- साथ ही सरकार इस योजना के तहत महिला बहुमत वाली सहकारिताओं को 1 प्रतिशत आर्थिक सहायता प्रदान करेगी।
- अस्पताल /आयुष /दन्त चिकित्सा /फॉर्मेसी /पैरामेडिकल /फिजिओथेरपी कॉलेजों में स्नातक और या स्नातकोत्तर कार्यक्रम चलाने के लिए,
- योग कल्याण केंद्र,
- आयुर्वेद, एलोपैथी, यूनानी, सिद्ध, होम्योपैथी अन्य पारंपरिक दवा स्वास्थ्य केंद्र,
- बुजुर्गों के लिए स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं,
- उपशामक देखभाल सेवाएं,
- विकलांग व्यक्तियों के लिए स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं,
- मानसिक स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं,
- आपातकालीन चिकित्सा सेवा / आघात केंद्र,
- फिजियोथेरेपी सेंटर,
- मोबाइल क्लिनिक सेवाएँ,
- हेल्थ क्लब और जिम,
- आयुष फार्मास्युटिकल निर्माण,
- औषधि परीक्षण प्रयोगशाला,
- दंत चिकित्सा देखभाल केंद्र,
- आँख देखभाल केंद्र,
- प्रयोगशाला सेवाएं,
- निदान सेवाएं,
- ब्लड बैंक/ रक्तदान सेवाएं
- पंचकर्म / थोककनम / क्षार सूत्र चिकित्सा केंद्र
- यूनानी चिकित्सा पद्धति की रेजिमेंटल थेरेपी(इलाज बिल तदबीर),
- मातृ एवं शिशु देखभाल सेवाएं
- प्रजनन और बाल स्वास्थ्य सेवाएं,
- एनसीडीसी द्वारा सहायता के लिए किसी अन्य संबंधित केंद्र या सेवाओं को उपयुक्त माना जा सकता है।